Haryana: स्वास्थ्य मंत्री आरती राव ने किया खुलासा, जानिए कहां बनेगा रेवाड़ी का 200 बेड का अस्पताल

Haryana: हरियाणा के जिला रेवाड़ी के रामगढ़ भगवानपुर में प्रस्तावित 200 बेड के अस्पताल को लेकर सियासी हलचल थमने का नाम नहीं ले रही। यह मुद्दा जहां एक ओर स्वास्थ्य सेवाओं की दिशा में एक बड़ा कदम माना जा रहा था, जबकि अब यह पूर्णतः राजनीतिक रंग ले चुका है।
पिछले 15 दिनों से ‘अस्पताल बनाओ संघर्ष कमेटी’ के बैनर तले आयोजित महापंचायत ने इस मामले को और गरमा दिया। मंच पर केंद्रीय मंत्री राव इंद्रजीत सिंह के राजनीतिक विरोधियों ने खुलकर हमला बोलते हुए उन पर वादाखिलाफी के आरोप लगाए जा रहे है।
शुरुआत में यह मुद्दा पूरी तरह जनहित और सामाजिक सरोकारों से जुड़ा था, लेकिन अब यह विपक्ष और सत्ता पक्ष के भीतर चल रही खींचतान का प्रमुख केंद्र बन गया है। जहां विपक्षी नेता मंत्री को घेरने का कोई मौका नहीं छोड़ रहे, वहीं सत्तारूढ़ दल के भीतर से भी कुछ नेताओं ने अपनी नाराजगी को इस बहाने जाहिर किया है।
नहीं है कोई जगह तय: हरियाणा की स्वास्थ्य मंत्री आरती सिंह राव ने बताया कि अस्पताल के लिए अब तक किसी भी स्थान को अंतिम रूप नहीं दिया गया है। उन्होंने बताया कि सरकार तय प्रक्रिया के तहत सभी मानकों की समीक्षा कर रही है और अस्पताल वहीं बनाया जाएगा जहां भौगोलिक व जनहित के दृष्टिकोण से वह सबसे उपयुक्त स्थान होगा।
रामगढ़ भगवानपुर पंचायत ने वॉटर टैंक के लिए 10 एकड़ भूमि की रजिस्ट्री अवश्य कराई है, लेकिन 200 बेड के अस्पताल के लिए कोई अंतिम फैसला नहीं हुआ है। साथ ही शहबाजपुर, फिदेड़ी, माजरा श्योंराज और गोकलगढ़ जैसी अन्य पंचायतों ने भी अस्पताल के लिए भूमि उपलब्ध कराने की पेशकश की है।

ऐसे में यदि सरकार किसी अन्य स्थान को अधिक उपयुक्त मानती है, तो यह निर्णय प्रशासनिक प्रक्रिया के तहत लिया जाएगा और इसे राजनीतिक रंग देना कहीं से भी उचित नहीं कहा जा सकता।
बता दें कि अस्पताल वहां बने जहां अधिकतम लोगों को चिकित्सा सुविधा मिल सके। रामगढ़ भगवानपुर की पहल सराहनीय है, लेकिन इस आधार पर राजनीति करना गल्त है।